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स्वास्थ्य राज्य मंत्री बनने के साथ ही अश्विनी चौबे ने तय की प्राथमिकताएं ..

अश्विनी कुमार चौबे ने बताया कि "हमारी प्राथमिकता भारतवर्ष के 130 करोड़ लोगों में गरीब वर्ग उसमें भी विशेषकर महिलाओं, बच्चों और बूढ़ों के स्वास्थ्य संवर्धन पर केंद्रित है. इसके अंतर्गत हम विश्व की सबसे बड़ी  स्वास्थ्य योजना 'आयुष्मान भारत योजना' को कार्यान्वित करने पर विशेष ध्यान देंगे.

- कहा, वर्ष 2022 तक सभी सीएचसी और पीएचसी को बनाएंगे हेल्थ वैलनेस सेंटर.
- कहां भारतवर्ष के 130 करोड़ लोगों के स्वास्थ्य संवर्धन पर केंद्रित है प्राथमिकताएँ.

बक्सर टॉप न्यूज़, बक्सर: नवनियुक्त केंद्रीय राज्य मंत्री अश्विनी कुमार चौबे को स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय आवंटित किया गया है. पिछली सरकार में भी श्री चौबे इसी विभाग में राज्य मंत्री थे. स्वास्थ्य विभाग के मंत्री बनने के बाद श्री चौबे ने मंत्री के रूप में अपनी प्राथमिकताएं स्पष्ट कर दी हैं. इन प्राथमिकताओं में सबसे महत्वपूर्ण आयुष्मान भारत योजना को पूरी तत्परता से लागू करना है. जिससे कि गरीब वर्ग के लोगों के स्वास्थ्य सेवाओं में अधिकतम योगदान किया जा सके.

केंद्रीय मंत्री श्री अश्विनी चौबे की मीडिया प्रभारी वेदप्रकाश त्रिपाठी ने बताया कि श्री अश्विनी कुमार चौबे ने बताया कि "हमारी प्राथमिकता भारतवर्ष के 130 करोड़ लोगों में गरीब वर्ग उसमें भी विशेषकर महिलाओं, बच्चों और बूढ़ों के स्वास्थ्य संवर्धन पर केंद्रित है. इसके अंतर्गत हम विश्व की सबसे बड़ी  स्वास्थ्य योजना 'आयुष्मान भारत योजना' को कार्यान्वित करने पर विशेष ध्यान देंगे.

प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना के अंतर्गत इस योजना में 55 करोड़ लोगों को यानी लगभग 40% आबादी को हेल्थ कवरेज मिलेगा. आयुष्मान भारत योजना के तहत स्वास्थ्य बीमा का लाभ लेने वालों की संख्या 20 लाख से ज्यादा हो गयी है. कुल मिलाकर अब तक 3.07 करोड़ लाभार्थियों को योजना के तहत ई-कार्ड जारी किये गये हैं. इसके प्रगति कक गति को हम और तेज कर अधिकतम लोगों को इसका लाभ पहुंचाएंगे.
उन्होंने कहा कि हमारी अगली प्राथमिकता वर्ष 2022 तक 30 साल तक के उम्र के हर नागरिक को निरोग बनाना है. इसके अंतर्गत वैलनेस सेंटर पर लोगों का रक्तचाप, डायबिटीज, मुंह का कैंसर, स्तन कैंसर, गर्भाशय कैंसर सहित अनेक रोगों का मुफ्त इलाज, जांच और दवा की व्यवस्था होगी.

उन्होंने बताया कि इसके उपरांत हमारी प्राथमिकता वर्ष 2022 तक सभी सीएचसी और पीएचसी को हेल्थ एंड वैलनेस सेंटर में बदलना है. अभी तक हम लोगों ने 20 हजार सीएचसी और पीएचसी को हेल्थ एंड वैलनेस सेंटर में बदल चुके हैं.
नरेंद्र मोदी सरकार के वर्ष 2014 में आने के बाद हम लोगों ने बच्चों के टीकाकरण को 61% से बढ़ाकर 85 तक % किया है. इस साल के अंत तक इस को बढ़ाकर 90% और अगले वर्ष 100% करना हमारी प्राथमिकता है. अगले 7 टीके होते थे। हमने इसको बढ़ाकर 12 कर दिया है ताकि अधिकतम रोगों से  बच्चों की रक्षा हो सके.

अमृत योजना के कारण दवाओं के खर्च में 90 फीसद तक की कमी आई है, जिसको हम सख्ती से लागू करते हुए गरीबों को अधिकतम लाभ देंगे.

प्रधानमंत्री डायलिसिस योजना में 1.25 लाख लोगों का मुफ्त डायलिसिस किया गया और 25 लाख मुफ्त डायलिसिस सेशन का लाभ इनको मिला. इसको अधिकतम संख्या तक पहुंचाना हमारी प्राथमिकता है, ताकि गरीब लोग डायलिसिस के अभाव में असमय मौत को प्राप्त न हो जाएं.

इसके अतिरिक्त देश भर के मेडिकल कॉलेज और अस्पतालों की स्थिति सुधारना, नए मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल खोलना और पहले से चले आ रहे जनकल्याणकारी योजनाओं को प्रभावी ढंग से लागू कर लोगों को लाभ पहुंचाना हमारी प्राथमिकता है. उन्होंने कहा कि हमें विश्वास है कि कड़ी मेहनत और लोगों के सहयोग से हम अपनी प्राथमिकताओं को कार्यान्वित करने में 100 फीसद सफल होंगे.









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