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निःशक्तता प्रमाण पत्र देने में देरी पर आयुक्त ने सिविल सर्जन व शिक्षा पदाधिकारी से मांगा स्पष्टीकरण ..

राज्य आयुक्त ने उपस्थित सभी विभागों को पदाधिकारियों से दिव्यांगजनों के प्रति संवेदनशीलता प्रदर्शित करने को कहा. दिव्यांगजनों से किसी भी तरह का विभेद करना विभिन्न कानूनी प्रावधानों का उल्लंघन है, इसके लिए सजा का प्रावधान है.

- समाहरणालय में हुई बैठक के दौरान प्रगति प्रतिवेदन पर जताया असंतोष.
- सर्किट हाउस में रैंप तथा नगर परिषद क्षेत्र में दिव्यांग जनों के लिए शौचालय बनाने का निर्देश.

बक्सर टॉप न्यूज़, बक्सर: नि:शक्तता आयोग के राज्य आयुक्त डॉ०शिवजी कुमार  की अध्यक्षता में समाहरणालय बक्सर  के सभागार में 11 बजे पूर्वाह्न में समीक्षात्मक बैठक आहुत की गई. बैठक में जिला के विभिन्न विभागीय पदाधिकारीयो के साथ दिव्यांगजनो को उनके विभागों के द्वारा दी जानी वाली सुविधाओं के बारे में जानकारी राज्य आयुक्त नि:शक्तता ने प्राप्त की. अबतक के प्रगति प्रतिवेदन से उन्होंने असंतोष व्यक्त किया. जिला में दिव्यांगजनों का प्रमाण पत्र निर्गत कराने की स्थिति अत्यंत दयनीय होने पर राज्य आयुक्त महोदय ने सिविल सर्जन बक्सर एवं जिला शिक्षा पदाधिकारी से स्पष्टीकरण प्राप्त करने के आदेश दिया. हर हाल में 31 अगस्त 2019 तक जिले के सभी दिव्यांगजनों का प्रमाणपत्र उपलब्ध कराने का निर्देश दिया गया. सदर अस्पताल के साथ-साथ सभी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों से दिव्यांगजनों का प्रमाणपत्र निर्गत करने हेतु सख्त निर्देश दिया गया.

 सरकारी नौकरियो में दिव्यांगजनों को क्षैतिज रूप पाँच प्रतिशत का आरक्षण सरकार के दिशा-निर्देश के अनुसार दिया जाना है. प्रधानमंत्री आवास योजना मनरेगा तथा जन वितरण प्रणाली के विक्रेता तथा लाइसेंस निर्गत करने में भी दिव्यांगजनों को 5 फीसद आरक्षण का लाभ देने का निर्देश उप विकास आयुक्त को दिया गया. जिला परिवहन पदाधिकारी को दिव्यांगजनों को मोटरसाइकिल एवं हल्के वाहनों के लिए लर्निंग ड्राइविंग लाइसेंस निर्गत कराने का आदेश भी दिया गया. इस 26 जुलाई को आयोजित मोबाइल कोर्ट में उपलब्ध कराने का निर्देश दिया गया. राज्य आयुक्त ने उपस्थित सभी विभागों को पदाधिकारियों से दिव्यांगजनों के प्रति संवेदनशीलता प्रदर्शित करने को कहा. दिव्यांगजनों से किसी भी तरह का विभेद करना विभिन्न कानूनी प्रावधानों का उल्लंघन है, इसके लिए सजा का प्रावधान है. बैठक में दिव्यांगों के अधिकार अधिनियम- 2016 के सभी प्रवधानों की जानकारी  विस्तार से बैठक में दी गई. राज्य आयुक्त ने प्रत्येक पंचायत में पाँच-पाँच दिव्यांगजनों का ग्रुप बनवा दिए जाने की जानकारी दी. 

कार्यक्रम में भवन निर्माण विभाग के अभियंता को के सर्किट हाउस में अविलम्ब रैम्प बनवाने का आदेश दिया गया. नगर परिषद के कार्यपालक पदाधिकारी को दिव्यांगजनो के लिए शौचालय बनवाने का भी निर्देश दिया. सरकारी विद्यालयों में गम्भीर दिव्यांगजनो को सरकारी प्रावधान के अनुरूप सालाना तीन हजार रुपया भुगतान करने का आदेश जिला शिक्षापदाधिकारी को दिया गया. उन्होंने ने जानकारी देते हुए कहा कि दिव्यांगजनो से विवाह करने पर एक लाख रुपया का सरकारी सहायता राशि दी जाती है. अगर दोनों दिव्यांग हो तो दो लाख की सरकारी सहायता राशि देने का प्रवधान है. अन्तरजातीय दिव्यांगजन के विवाह कराने पर अतिरिक्त एक लाख सरकारी सहायता के रूप में देने का प्रावधान है. आनेवाले समय में आधार कार्ड की तरह दिव्यांग जनों के लिए यूनिक डिसऐबिलिटी आई डी निर्गत करने हेतु आवश्यक तैयारी करने का निर्देश दिया गया. बैठक में उप विकास आयुक्त बक्सर, अपर समाहर्ता बक्सर, विभिन्न विभागों के पदाधिकारी, पुलिस पदाधिकारी एवं विभिन्न थाना के थाना प्रभारी उपस्थित थे.









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