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खुलासा: जीविकोपार्जन के लिए स्क्रैप फैक्ट्री में मजदूरी कर रहा था मोस्ट वांटेड, साथ काम करने वाले भी नहीं पहचानते चेहरा ..

वहीं, बिट्टू केशरी जमानत पर है. इसके अतिरिक्त शनिवार को 13 बोतल शराब के साथ पकड़ा गया ब्रिगेडियर उर्फ सिद्धांत रंगदारी मामले में इसके लिए लाइन का काम करता था. वह पूर्व में आर्म्स एक्ट रंगदारी एवं एक्साइज एक्ट के कांड में जेल जा चुका है.

- पैसे को लेकर शेरू गैंग से अलग हुआ शूटर चंदन गुप्ता.
- बोटी-बोटी काट कर कर दी गयी थी चंदन के साथी अनीश के साथी समेत दो की हत्या.

बक्सर टॉप न्यूज़, बक्सर: एसपी उपेंद्र नाथ वर्मा ने बताया कि, चंदन गुप्ता कभी शेरू सिंह का शार्प शूटर माना जाता था. लेकिन, रोहतास में हुए धनजी सिंह हत्याकांड एवं सीवान में हुई हत्या की वारदात में पैसों के लेनदेन के कारण उनका साथ छूट गया तथा चंदन ने अपना नया गैंग बना लिया. उसने पुलिस को बताया है कि सीवान में हरेंद्र यादव हत्या में उसे केवल 10 हज़ार रुपये मोबाइल खरीदने के लिए मिले थे. एसपी ने बताया कि कई कांडों में शामिल अपराध कर्मी चंदन गुप्ता अपनी पहचान छुपाकर तथा जीविकोपार्जन के लिहाज से दुर्गापुर में स्क्रैप फैक्ट्री में नौकरी कर रहा था.

चंदन को चेहरे से नहीं पहचानता है, गैंग का कोई सदस्य, रोशन रजक है राइट हैंड: 

एसपी ने प्रेस वार्ता के दौरान बताया कि, चंदन गुप्ता को उसके गैंग के सदस्य भी चेहरे से नहीं पहचानते हैं. उसका राइट हैंड रोशन रजक ही मामले में सारी डीलिंग करता है. हालांकि, फिलहाल वह जेल में बंद है. इसके अतिरिक्त उसके साथियों में जेल में बंद शेरू सिंह, अनीश मिश्रा, ब्रिगेडियर उर्फ सिद्धांत, सीवान के रहने वाले प्रियांशु तथा गोलू सिंह, बबली सिंह, अमित सिंह, अनीश मिश्रा एवं सीटू उर्फ दिवाकर मिश्रा, बंटू चौबे तथा बिट्टू केसरी एवं अन्य साथी हैं. उन्होंने बताया कि अनीश मिश्रा उर्फ सीटू की हत्या हो चुकी है. वहीं, अमित सिंह बंटू चौबे फरार हैं. वहीं, बिट्टू केशरी जमानत पर है. इसके अतिरिक्त शनिवार को 13 बोतल शराब के साथ पकड़ा गया ब्रिगेडियर उर्फ सिद्धांत रंगदारी मामले में इसके लिए लाइन का काम करता था. वह पूर्व में आर्म्स एक्ट रंगदारी एवं एक्साइज एक्ट के कांड में जेल जा चुका है.

बोटी-बोटी काट कर कर दी गई है अनीश की हत्या:

चंदन ने बताया कि उसके साथी अनीश मिश्रा एवं सीटू उर्फ दिवाकर मिश्रा को सिवान में मार गिराया गया है. उसने बताया है कि, उन्होंने जिस की सुपारी ली थी उसे इस बात की भनक लग गई तथा उसने किसी दूसरे गैंग के द्वारा चंदन समेत अनीश मिश्रा एवं सीटू को पकड़वा लिया. वहां से चंदन किसी तरह भागने में सफल हो गया लेकिन उन्होंने अनीश मिश्रा को बोटी-बोटी काट कर मार डाला वहीं, दिवाकर मिश्रा उर्फ सीटू की भी उन्होंने हत्या कर दी थी.
















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