Buxar Top News: बड़ा खुलासा: यहाँ रिजेक्टेड हथियारों से हो रही लोगों की सुरक्षा, भगवान भरोसे जी रहे हैं लोग ...
बिहार पुलिस की आर्म्स ऑडिट रिपोर्ट बताती है कि राज्य पुलिस को एक लाख, 16 हजार, 810 अत्याधुनिक हथियारों यथा इंसास, एके-47, कार्बाइन और पिस्टल की जरूरत है। फिलहाल केवल 42,949 हथियार ही उपलब्ध हैं। यानी जरूरत से 73,861 हथियार कम।
जाहिर है कि बिहार पुलिस अपराधियों और नक्सलियों के खिलाफ मोर्चा खोलने में संसाधनों की कमी महसूस कर रही है। पुलिस सूत्र बताते हैं कि राज्य में बैंकों, कोषागारों समेत राज्य व केंद्र सरकार के कई महत्वपूर्ण दफ्तरों की सुरक्षा थ्री नॉट थ्री रायफल के भरोसे ही है।
आरटीआई एक्टिविस्ट एवं युवा समाजसेवी अमित राय ने सम्बंधित कुछ आंकड़े प्रस्तुत करते हुए कहा कि पिछले दिनों राज्य में हुई बड़ी आपराधिक घटनाओं को देखें तो स्पष्ट है कि अपराधियों ने खौफ का माहौल बनाने के लिए एके-47, कार्बाइन और अत्याधुनिक हथियारों का इस्तेमाल किया। चाहे वह दरभंगा में सड़क निर्माण कपंनी से जुड़े दो अभियंताओं की हत्या का मामला हो या फिर पटना के समीप लोजपा नेता बृजनाथी सिंह, भाजपा नेता विशेश्वर ओझा की हत्या में इस्तेमाल किए गए हथियार हों। ये सभी आपराधिक घटनाएं अत्याधुनिक हथियारों के बल पर अंजाम दी गईं।अमित राय ने कहा कि आर्म्स ऑडिट के आंकड़े बताते हैं कि वर्ष 2012 में केंद्रीय गृह मंत्रालय द्वारा इस्तेमाल से बाहर की जा चुकी थ्री नॉट थ्री रायफल पर आज भी बिहार पुलिस की निर्भरता करीब 47 प्रतिशत है। वहीं केवल 53 प्रतिशत जवानों व अधिकारियों को ही अत्याधुनिक हथियार उपलब्ध हो सके हैं।
बिहार पुलिस में अत्याधुनिक हथियारों की कमी का आंकड़ा
हथियार जरूरत उपलब्धता कमी (%में)
इंसास 62,151 41,957 33%
एके-47 7,830 3,758 52%
कार्बाइन 15,373 9,862 36 %
पिस्टल 31,456 18,284 42%
बिहार पुलिस के रिकार्ड को जानें तो ज्ञात होता है कि जरुरत से 33 फीसदी इंसास राइफल कम हैं। बिहार के पास 62151 इंसास राइफल होने चाहिए थे, जबकि उपलब्धता मात्र 41957 की है। ठीक इसी तरीके से एके-47 राइफल 52 प्रतिशत कम है। 7830 एके-47 राइफल बिहार पुलिस के पास होने चाहिए थे, परंतु अभी 3758 ही हैं।
कार्बाइन में बिहार पुलिस की कमी 36 प्रतिशत है। बिहार पुलिस के पास 15373 कार्बाइन होना चाहिए। लेकिन वर्तमान उपलब्धता 9862 ही है। ठीक इसी तरह पिस्तौल भी 42 प्रतिशत कम हैं। 31456 पिस्तौल के बदले बिहार पुलिस के पास अभी मात्र 18284 पिस्तौल हैं। बिहार पुलिस के अधिकारी मानते हैं कि हथियारों की कमी अपराध से निपटने में बड़ी चुनौती है।
इस बाबत आरटीआई एक्टिविस्ट अमित राय ने राज्य के लोगो के सुरक्षा के मद्देनजर रखते हुए गृह विभाग एवं मुख्यमंत्री से समस्या को तत्काल रूप से हल करने का कईबार आग्रह किया परंतु पिछले 1 साल से हथियारों की कमी के पीछे फंड की कमी से अधिक बड़ा कारण आपूर्ति का संकट बताया जा रहा है। अंततः इन्होंने गृह मंत्रालय, भारत सरकार से इस विषय पर हस्तक्षेप करने का आग्रह किया है।





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