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Buxar Top News: सूखे से किसान मायूस, नेताओं को मिला सियासत का बड़ा मुद्दा ..

भले ही हमारे अन्नदाता किसान के चेहरे पर घोर मायूसी छाई हुई है. लेकिन सूखे के द्वारा विपक्षी पार्टियो के लिए सियासत करने का एक बड़ा मौका हाथ लग गया है

- सूखे को लेकर आयोजित हुआ धरना.

- सूखे की मुसीबत को चुनावी रंग देने में जुट गए हैं नेता.



बक्सर टॉप न्यूज़, बक्सर: विश्वामित्र के पावन भूमि बक्सर में भयंकर सूखा क्या पड़ा राजनीतिक पार्टियां इसको चुनावी रंग देने में लग गई है. जिले में पड़े भयंकर सूखे के कारण भले ही हमारे अन्नदाता किसान के चेहरे पर घोर मायूसी छाई हुई है. लेकिन सूखे के द्वारा विपक्षी पार्टियो के लिए सियासत करने का एक बड़ा मौका हाथ लग गया है.

पहले जहाँ राजद द्वारा डुमरांव अनुमंडल में किसानों की समस्या को लेकर धरना दिया गया एवं वर्तमान सरकार को निकम्मा तो अफसरों को कामचोर बताया गया. वहीं मंगलवार को कांग्रेस के  द्वारा भी बक्सर प्रखंड कार्यालय पर किसानों की समस्या को लेकर घंटों धरना दिया. हालांकि इसके पूर्व नेताओं ने किसानों की हक की लड़ाई लड़ने वाले नेताओं ने प्रखंड कार्यालय में ही मौजूद किसी अधिकारी से न तो सूखे की समस्या को लेकर बात की और न ही किसानों से मिलकर उनके समस्या को जानना जरूरी समझा. इस मुसीबत में भी उन्हें सियासत करने में ही शायद अधिक लाभ दिख रहा है.

किसानों की हक की लड़ाई लड़ने की दावा कर रहे काँग्रेस के जिलाध्यक्ष तथागत हर्षवर्धन ने बताया कि किसान फसल अपने पेट पालने के लिए नही समाज की भलाई के लिए बोता है. लेकिन यहां के सरकार ही नही पदाधिकारी भी इतना संवेदन हीन हो गए है जिन्हें किसानों की समस्या दिखाई नही देती. अगर जल्द ही सरकार नही चेती तो कांग्रेस आगे चरणबद्ध तरीके से आंदोलन करेगी.

बहरहाल, देखने वाली बात यह होगी कि किसानों का नाम लेकर विपक्ष आगामी चुनावों में कितना लाभ उठा पाता है.
























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